‘मौत के गड्ढे’ में समा गए चार मासूम बच्चे, जानिए कैसे हुआ यह दर्दनाक हादसा

‘मौत के गड्ढे’ में समा गए चार मासूम बच्चे, जानिए कैसे हुआ यह दर्दनाक हादसा
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उदयपुर : राजस्थान के उदयपुर में 4 नाबालिग मासूम बच्चों के साथ दर्दनाक हादसा सामने आया। इस दौरान बारिश के कारण भरे मौत के गड्ढे में चार मासूम बच्चे नहाने के लिए उतरे और उनकी इस गड्ढे में डूब कर मौत हो गई। दरअसल, ये बच्चे बकरियां चराने गए थे। इस बीच मस्ती करते हुए चारों उस गड्ढे में नहाने के लिए चले गए। हादसे की सूचना मिलते ही परिजनों में कोहराम मच गया। मौके पर काफी संख्या में ग्रामीणों की भीड़ जमा हो गई।

मौत के गड्डे

मौत के गड्ढे में समा गए चार मासूम बच्चे

हैरान कर देने वाला यह दर्दनाक हादसा उदयपुर के डबोक थाना क्षेत्र से सामने आया है, जहां रविवार को कुंवारी माइंस में एक बरसाती गड्डा चार मासूम बच्चों के लिए मौत का गड्डा साबित हुआ। बताया जा रहा है कि चार बच्चे लक्ष्मी, भावेश, राहुल और शंकर बकरियां चराने गए। इस बीच चारों नाबालिग एक गड्ढे में भरे हुए पानी को देखकर नहाने के लिए मचल गए। चारों बच्चे एक-एक करके नहाने के लिए उस गड्ढे में कूद गए। गड्ढे में काफी मात्रा में पानी भरा हुआ था। इससे उसकी गहराई का अंदाजा नहीं लग पाया और चारों बच्चों की इस गड्ढे में डूब कर दर्दनाक मौत हो गई। इधर, जब हादसे की सूचना लगी तो परिजनों में कोहराम मच गया। वहीं गांव में मातम का माहौल हो गया।

पत्थर निकालने के कारण माइंस में हो गए हैं गहरे गड्ढे

जानकारी के अनुसार यह माइंस मंदेरिया गांव में स्थित है, जहां बड़े स्तर पर पत्थरों का खनन किया जाता है। इसके कारण वहां गहरे गहरे गड्ढे बन चुके हैं। इधर, बारिश के दौर के कारण इन गड्ढे में काफी मात्रा में पानी जमा हो गया है। इसके कारण उनकी गहराई का पता नहीं लग पाता है। इधर, कई ग्रामीणों के बच्चों भी इस तरह के गड्ढे में नहाते रहते हैं। यह दर्दनाक हादसा सामने आते ही गांव में सन्नाटा पसर गया। वहीं परिजनों का रो-रो कर बुरा हाल हो गया है।

हादसे को लेकर ग्रामीणों का बवाल

इधर, माइंस के गड्ढे में चार मासूम की मौत के बाद ग्रामीणों का आक्रोश फूट पड़ा। इस दौरान ग्रामीण चारों बच्चों के शवों को लेकर बैठ गए। सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची और ग्रामीणों को समझाइश करने का प्रयास किया, लेकिन ग्रामीण इस मांग पर अड़े कि प्रत्येक बच्चे के परिवार को एक नौकरी और 10 लाख रुपए का मुआवजा दिया जाए, जबकि माइंस के प्रतिनिधि प्रत्येक बच्चे के परिवार को 4 लाख का मुआवजा देना चाह रहे हैं। इस मामले को लेकर अभी भी गतिरोध जारी है।

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मनीष बागड़ी, Chief Editor

पॉलिटिकल आर्टिकल्स लिखना पसंद है, पत्रकारिता में 20 वर्ष से अधिक का अनुभव है। वर्तमान में नवभारत टाइम्स (NBT) में 'स्टेट पॉलिटिकल आर्टिकल्स' लिखता हूं, पत्रकारिता के इस सफर में राजस्थान पत्रिका, A1टीवी, न्यूज़ इंडिया, Network 10, हर खबर न्यूज़ चैनल, दैनिक रिपोर्टर्स.com जैसे न्यूज़ प्लेटफार्म पर भी कार्य किया है। Follow us - www.thepoliticaltimes.live
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